स्वच्छता हमारे मन-तन और समाज के लिए बेहद जरूरी है। तभी एक सर्वागिन विकास और परवरिश की कल्पना की जा सकती है। जिसे भारत सरकार ने गंभीरता से लेते हुए स्वच्छ भारत अभियान को चलाया। जिसपर आप बच्चों Essay लिख सकते है। इसलिए 4 निबंध प्रस्तुत कर रहे है, जिसे आप क्लास 1,2,3,4,5,6,7,8,9,10,11,12 के लिए उपयोग कर सकते है।
अनुक्रम
Swachh Bharat Abhiyan Essay 
स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध (100 शब्द )
महात्मा गाँधी की 145 जयंती पर माननीय श्री नरेंद्र मोदी जी ने इस अभियान की शुरुआत की। गाँधी जी का चस्मा इस अभियान का लोगो ( पहचान चिन्ह ) है। इस अभियान को दिल्ली के राजघाट पर 2 अक्टूबर 2014 को पहली बार शुरू किया गया था।
इस अभियान का उद्देश्य देश के लोगों में सफाई के प्रति जागरूकता फैलाना है। सवा सौ करोड़ की जनसंख्या वाला विशालकाय देश भारत की 70 प्रतिशत जनसंख्या आज भी गाँव में रहती है और वह खुले में शौच जाते है। जिससे बहुत से बीमारिया फैलती हैं।
स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध (200 शब्द )
स्वच्छ भारत अभियान की मुहिम माननीय श्री नरेंद्र मोदी जी ने महात्मा गाँधी जी के 145 वीं (2 अक्टूबर 2014 ) शुरू की गई थी। इस मुहिम का उद्देश्य भारतीय जनता में स्वच्छता के प्रति जागरूकता फैलाना है, क्योंकि 20 फीसदी भारत की जनसंख्या आज भी अनपढ़ है और गाँव में निवास करती है।
भारत आजाद तो 15 अगस्त 1947 में ही हो गया था, पर सफाई की जंग अभी तक नहीं जीत पाया। ये कितने शर्म की बात है कि आपने देश को स्वच्छ करने के लिए अभियान चलना पद रहा है। अपितु हर भारतीय को इस ज़िम्मेदारी की अहसास हो तो शायद इस आभियान की आवश्यकता ही न हो। इस अभियान को सफल बनाने का भार ग्यारह लोगों को दी गई।
- सचिन तेंदुलकर क्रिकेटर (पूर्व क्रिकेटर )
- सलमान खान अभिनेता
- बाबा रामदेव योग गुरु
- अनिल अंबानी व्यसायक
- शशि थरूर राजनीज्ञ
- प्रियंका चोपड़ा अभिनेत्री
- विराट कोहली क्रिकेटर (कप्तान )
- महेन्द्र सिंह धोनी क्रिकेटर (पूर्व कप्तान )
- कमल हसन अभिनेता
- मृदुला सिन्हा गोवा की राज्यपाल
- तारक मेंहता का उल्टा चश्मा टीवी सीरियल की पूरी टीम
सम्पूर्ण भारत को 2 अक्टूबर 2020 को स्वच्छ करने का उद्देशय रखा गया है।
स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध (300 शब्द )
भारत एक विशालकाय देश है। आजादी के साथ – साथ भारत की बेरोजगारी, भुखमरी, अशिक्षा और विभाजन जैसी कई सारी समस्या भी मिली। इनसे बचने के लिए सरकार ने कई सारी योजनायेँ व अभियान चलाये।
वे कारगर भी साबित हुये। भारत के परम पिता गांधी जी ने स्वाधीन के साथ – साथ स्वच्छ भारत का भी सपना देखा था। पर उस समय उनके इस सपने पर किसी ने ध्यान नहीं दिया।
आजादी के 68 साल बाद भारत की सरकार ने उनके इस सपने को सरकार करने के लिए स्वच्छ भारत का अभियान चलाया और ये अभियान सफलता की तरफ बहुत तेजी से अग्रसर हो रहा है।
अब तक 603055 गाँव के हर घर में सरकार शौचालय बनवा दिये गए है। 706 जिले इस श्रेणी में आ चूके है और 36 राज्य और केंद्र शासित प्रदेश इस मुहिम को सफल बनाने की कोशिश में प्रयासरत है।
देश के प्रधान मंत्री माननीय श्री नरेन्द्र मोदी जी ने खुद वाराणसी के अस्सी घाट की सफाई की और लोगों को संबोधित करते हुये कहा कि, ज्यादा से ज्यादा लोग मिल कर इस अभियान को सफल बनाये।
कुछ ऐसा ही हुआ केवल नेता और सेलेब्रिटी ही नहीं, आम जनता भी सड़को पर आकर सफाई करने लगी। ये अभियान धीरे -धीरे राष्ट्रव्यापी आंदोलन बनकर उभरा। गांधी जी को उनके 150 वीं जयंती पर श्रद्धांजलि के रूप में स्वच्छ भारत देने का उद्देश पूरा होता दिखाई दे रहा है।
साफ – सफाई से मनुष्य का तन-मन दोनों स्वस्थ और निरोगी रहता है। स्वच्छता मनुष्य का नैतिक धर्म है। हर इंसान को इसकी पालन अवश्य करना चाहिए।
“जो परिवर्तन आप दुनिया में देखना चाहते है, वो पहले खुद में करे। ” – महात्मा गांधी
स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध (600 शब्द )
प्रस्तावना :- स्वच्छ भारत के परिकल्पना सबसे पहले गांधी जी ने की थी। स्वच्छता इंसान की नैतिक ज़िम्मेदारी है। इंसान अपना घर तो साफ रखता है। लेकिन क्या आस – पास के वातावरण को साफ रखने की ज़िम्मेदारी इंसान की नहीं है?
स्वच्छ भारत अभियान की शुरुआत आम जनता में सफाई के प्रति जागरूकता लाना था, क्योंकि आजादी के समय भारत को विरासत में कई सारी बीमारिया मिली जैसे बेरोजगारी, अशिक्षा, गरीबी, विभाजन की त्रासदी आदि मिली।
जिससे लड़ कर भारत आज विश्व में अपन लौहा मनवाने में कायम रहा। इतनी सफलता के बाद भी भारत में गंदगी रूपी बीमारी आज भी पैर फैला रही है। सफाई तो मनुष्य का नैतिक धर्म होता है। फिर भी सरकार को स्वच्छता अभियान चलाना पड़ रहा है।
महात्मा गांधी का सपना :- स्वच्छ भारत मिशन की शुरुआत बहुत पहले ही महात्मा गांधी जी ने कर दी थी। परंतु उस समय इससे लड़ने में महात्मा गांधी जी को सफलता नहीं मिली। गांधी जी ने जनता को संबोधित करते हुये कहा की ” यदि आप स्वच्छता नहीं रख सकते तो आप को स्वाधिनता का कोई अधिकार नहीं है।”
गांधी जी स्वच्छता को ईश्वर भक्ति के बराबर मानते थे। वे जिस आश्रम में रहते थे। वहाँ सुबह 4.00 बजे जग कर स्वयं ही पूरे आश्रम की सफाई करते थे। वे आम जनता के साथ मिलकर देश आस – पास की सफाई भी करते थे और इस प्रकार इसको देश व्यापी आंदोलन बनाकर भारत को स्वच्छ बनाना चाहते थे।
स्वच्छ भारत अभियान की शुरुआत :- इस अभियान की शुरुआत आधिकारिक तौर सबसे पहले 1954 में हुई। आगे चल कर 1986 में केंद्रीय ग्रामीण स्वच्छता अभियान बना। 1999 में माननीय प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह जी ने इसको निर्मल भारत अभियान का नाम दिया। इन सभी अभियानों का कोई उचित परिणाम नहीं मिलने के कारण 2012 में इसे बंद कर दिया गया।
इस अभियान को 24 सितम्बर 2014 को लोक सभा में इसे पुनः पारित कर स्वच्छ भारत अभियान का नाम दिया गया । 2 अक्टूबर 2014 को प्रधान मंत्री नरेन्द्र मोदी जी ने अपने भाषण ने कहा
” देश की सफाई मात्र केवल सफाई
कर्मियों की ज़िम्मेदारी नहीं है,
क्या इसने नागरिकों की कोई भूमिका नहीं है,
हमें इस मानसिकता को बदलना होगा। ”
और सभी भारतवासीयो से आग्रह किया की इस अभियान से ज्यादा से ज्यादा संख्या में जुड़ कर अभियान को सफल बनाए।
अभियान का उद्देश्य :- इस अभियान के उद्देश्य तो बहुत ही ज्यादा है। लेकिन जो मुख्य उद्देश्य निम्नलिखित है –
- आम जनता को सफाई के प्रति जागरूक करना।
- खुले में शौच की मानसिकता को बदल कर , शौचालयों के प्रयोग करने के लिए प्रोत्साहित करना।
- व्यक्तिगत, सामूहिक व सामुदायिक शौचालयों का निर्माण करवाना।
- शहरों व कारखानो से निकलने वाले अवशिष्ट को सुनिश्चित तरीके से नष्ट करना।
- 2019 तक सभी घरो में पानी की पूर्ति करने के लिए पाइप लाइन लगवाना।
- अपने शहरों व गावों की सफाई के लिए आमजन को प्रोत्साहित करना।
- विश्व स्तर पर भारत की पुरानी छवि को बदलना और पर्यटकों की संख्या में वृद्धि करना।
उपसंहार :- इस अभियान में आम जनता व कलाकारों के सार्वभौमिक भागीदारी ने आंदोलन का रूप दे दिया। यह अभियान इतना सफल रहा की घर – घर में लोगों ने शौचालय का निर्माण करवाया। साथ ही सामुदायिक स्तर पर सुलभ – शौचालयों का भी निर्माण हुआ। जनता ने इसका उपयोग करना भी शुरू कर दिया।
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