Hindi-Biography.com

Treasure of Info

  • Home
  • Valentine Week List
  • Rose Day Shayari
  • Propose Day Shayari
  • Chocolate Day Shayari
  • Teddy Day Shayari

आखिर कैसे बस कंडक्टर की बेटी ने दिलाई भारत को पहला ऑलिंपिक मेडल ? Sakshi Malik की पूरी कहानी

By : Ravi Kumar

आत्म-विश्वास वह शक्ति है, जिसके बलबूते दशरथ मांझी जैसे लोग अकेले पहाड़ से लौहा ले सकते है तो, वहीं मात्र 14 साल की मालवा पूर्णा जैसे बच्चे अटल हिमालय की छत पर तिरंगा फहरा सकते है। इतिहास गवाह है, आत्म-विश्वास से लवरेज योद्धायों ने अंतिम क्षण में भीषण से भीषण युद्ध की काया पलट करने में सफल रहे। 18 अगस्त 2016 को रियो ऑलिंपिक में कुछ ऐसा ही हुआ, जब भारत की लेडी सुल्तान और हरियाणवी शेरनी Sakshi Malik ने हारी हुई बाजी को अपने आत्म-विश्वास के बलबूते अंतिम 10 सेकंड में पलट दी और रक्षाबंधन के मौके पर हर भारतीय भाई-बहनों को गौरव वाला गिफ्ट दे दी।

आखिर Sakshi Malik ने क्यों रेस्लिंग को ही अपने कैरियर के रूप में चुनी ? जबकि जमाने वाले उनका विरोध किया करते थे। यहीं सब जानेंगे इस Hindi Biography से….

अनुक्रम

  • Sakshi Malik Hindi Biography (Wiki)
    • Parents & Childhood
    • Wrestling Training & Winning Moments
    • Wining Moment at Rio Olympics
    • Quick Fact
      • Bio-Data
      • Family

Sakshi Malik Hindi Biography (Wiki)Sakshi Malik

Parents & Childhood

साक्षी मलिक का जन्म हरियाणा के रोहतक जिले के मोखरा गाँव में हुआ था। उनके पिता सुखबीर मलिक दिल्ली ट्रांसपोर्ट कॉर्पोरेशन में बस कंडक्टर के पद पर कार्यरत है।

उनकी माँ सुदेश मलिक एक सरकारी कर्मचारी है। उनका एक भाई भी है, जिसका नाम सचिन है।

उनके पिता उनके बचपन के बारे में कहते है,

उसे बचपन में महिला पहलवानों का ड्रेस इतना अच्छा लगा कि, वो 12 साल की उम्र में पहलवानी सीखने के लिए इच्छा जाहीर की।

Wrestling Training & Winning Moments

पुरुष प्रधान सोसाइटी के विपरीत साक्षी के परिवार ने अपनी बेटी की असामान्य इच्छा को पूरा करने के लिए फूल सपोर्ट किया और उन्हें छोटू राम स्टेडियम में पहलवानी सीखाने वाले ईश्वर दाहियाँ के आखाड़े में भर्ती करा दिया गया।

पर यह भर्ती इतना आसान ना था, जब ईश्वर दाहियाँ साक्षी को पहलवानी सीखाने लगे तो कई लोकल लोग उनका विरोध करने लगे, क्योंकि भारत में पहलवानी को केवल पुरुषों का ही खेल समझा जाता है।

खैर इन सब बातों से बेखबर ईश्वर दाहिया ने साक्षी को रेस्लिंग सीखाना नहीं छोड़ा और लगातार 8 सालों तक कड़े ट्रेनिंग के बाद साक्षी को 2010 में जूनियर वर्ल्ड चैम्पियनशिप के 58 किलोग्राम फ्रीस्टाइल के इवैंट में अपना जौहर दिखाने का मौका मिला, जहां वो हरियाणवी शेरनी की तरह अपनी प्रतिद्वंदीयों को पटखनी दी और ब्रोंज मेडल को अपने नाम की।

ट्रेनिंग के दौरान साक्षी को पुरुष पहलवानों के साथ दांव-पेच सीखना पड़ता है और अभ्यास के लिए पुरुषों के खिलाफ अखाड़े में लड़ना भी पड़ता है।

इस तरह पुरुषों के साथ लाखों अभ्यास करने के बाद वह किसी भी महिला पहलवान के विरुद्ध एक मजबूत प्रतिद्वंदी बन चुकी थी। यहीं कारण था कि रेस्लिंग के 60 किलोग्राम कैटेगरी में नया खिलाड़ी होते हुए भी 2014 में Dave Schultz International Tournament में गोल्ड जीतने में कामयाब रही।

इसी तरह अखाड़े की शेरनी 2015 में दोहा में हुए Asian Wrestling Championships में ब्रोंज जीतने में सफल रही।

इतनी सफलता के कारण वो हरियाणा में तो काफी पोपुलर हुई, पर यह सब उनके 12 साल के मेहनत के आगे ना-काफी था। पर उनके पास अपने कौशल का जौहर दिखाने का कोई मौका नहीं था।

  • Read Also : न कपड़े थे, न जूते थे, न ही प्रैक्टिस ग्राउंड… फिर भी उसने भारत को ओलिम्पिक में पहुंचाया | दीपा कर्माकर की पूरी कहानी

Wining Moment at Rio Olympics

पर कहते है ना, मेहनत कभी बेकार नहीं जाता। इसी साल के अप्रैल में मंगोलियाँ में हुए ओलिम्पिक क्वालिफ़ाइंग टूर्नामेंट में ब्रोंज के लिए हुए बाऊट में देश की पहली महिला पहलवान गीता फ़ौगट नहीं उतरी। जिसके कारण उन्हें अयोग्य घोषित कर दिया गया।

चूंकि Sakshi Malik भी उसी 58 किलोग्राम के केटेगरी में खेलती है, इसलिए उन्हें रियो ओलिम्पिक में खेलने का मौका मिला।

18 अगस्त 2016 को हुए 58 किलोग्राम के फ्रीस्टाइल रेस्लिंग में साक्षी 4 मैच जीतने में कामयाब रही, पर उन्हें क्वार्टर फाइनल में हार का सामना करना पड़ा।

पर उनके पास ब्रोंज जीतने का एक मौका बचा हुआ था, वो रेपेचेज़ राउंड में किर्गिस्तान के रेसलर के खिलाफ मुक़ाबले में उतरी।

पर सबके उम्मीदों के विपरीत साक्षी 0-5 से पिछड़ गई, अब उनपर प्रेशर आ गया, लेकिन हौसला नहीं खोई। बस मन में एक ही बात चल रहा थी,

रेस्लिंग की बाज़ियाँ तो 2 सेकंड में बदल जाती है, मेरे पास तो 10 सेकंड है।

ठीक इसके कुछ सेकंड बाद वो 4 अंक अर्जित की और 4-5 पर आ गई और अगले पल में लगातार 4 पॉइंट हासिल कर Rio Olympic में भारत के मेडल-सूखे को खत्म कर दी।

इस शानदार जीत के बाद वो काफी खुश हुई, जो उनके आंसूओं के रूप में निकला। कोच उन्हें अपने कंधों पर बिठाकर कर रियो के अखाड़े में घुमाने लगे और कहने लगे,

इस बच्ची ने मुझे जिंदगी का सबसे बेहतरीन तौहफा दे दिया है। मैं जिंदगी भर इसका कर्जदार रहूँगा।

और इस जीत के बाद लेडी सुल्तान कहती है,

आज पूरे दिन नेगेटिविटी नहीं आई। आखिरी पड़ाव पर मेरे पास 10 सेकंड ही थे। मैंने 2-2 सेकंड में कुश्ती बदलते देखी है, तो सोचा 10 सेकंड में ऐसा क्यों नहीं हो सकता ? लड़ना है, मेडल लाना है। यहीं दिमाग में था कि मेडल तो तेरा है।

  • Read Also : कौन है अपने से कई गुणी ऊंची रैंकिंग वाली खिलाड़ियों को मिनटों में हराने वाली ? P V Sindhu की पूरी कहानी

Quick Fact

Bio-Data

Full Name – Sakshi Malik

Date of birth – 3 September, 1992

Birth of Place – Rohtak, Haryana

Height – 5’4″

Weight – 58 Kg

Caste – Jatt

Family

Father Name – Sukhbir Malik

Mother Name – Sudesh Malik

Brother Name – Sachin Malik

If you like it, please share and comments. Thanks 🙂

(Pic-google Image)

Spread the love

Related Posts

  • Bhuvan BamYoutube पर मात्र दो Videos Upload से कैसे कमाता है, ₹3-4 लाख महिने ? Bhuvan Bam की पूरी कहानी
  • mary komकैसे बनी एक जिद के कारण एक मजदूर घर की लड़की विश्व बॉक्सिंग चैम्पियन
  • sarabjit singhकौन है, जिसने गलती से बॉर्डर पार कर अपनी मौत को बुलाया ? सरबजीत सिंह की पूरी कहानी
  • Yuzvendra Chahalकैसे एक Chess Player ने India के लिए अबतकी सर्वश्रेष्ठ बॉलिंग की ? Yuzvendra Chahal की पूरी कहानी

Filed Under: Sports Persons, Trending Now

Comments

  1. Chandra agrawal says

    at

    Its a good website . l like it

    Reply
  2. waghmare Ravi (Maharashtra) says

    at

    Very nice article sir

    Reply
  3. Lokesh kumar says

    at

    Very nice article and you are amazing in writing.

    Reply
  4. sirisha says

    at

    U have done a good job

    Reply

Leave a Reply Cancel reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Search The Blog & Hit Enter

Join Us on Social Sites

Facebook
Twitter
Youtube

Latest Posts

  • Best 30 Teddy Day Images
  • [Best 51] Teddy Day Message Status in Hindi [Romantic 2023]
  • [Best 25] Rose Day Image in Hindi-HD Pic रोज डे वॉलपेपर 2023
  • [Best 51] Promise Day Message Status in Hindi- Romantic
  • [Best 60] Valentine Day Wishes Shayari in Hindi

Copyright © 2023 · About Me · Contact Me · Privacy Policy · TOS · Disclaimer · Sitemap · DMCA.com Protection Status